कायाकल्प वटी के फायदे, नुकसान और उपयोग!

Kayakalp Vati
Kayakalp Vati

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चेहरा सुंदर दिखाना हर किसी की ख्वाहिश होती है और इसके लिए लोग कई तरह के ब्यूटी प्रोडक्ट्स भी उपयोग करते हैं, फिर भी त्वचा को वह लाभ नहीं मिल पाते जिससे चेहरे में निखार आए, बल्कि स्किन डिसीज़ और बढ़ जाते हैं। इस ब्लॉग में आज हम आयुर्वेदिक पतंजलि दिव्य कायाकल्प वटी  के फायदों के बारे में चर्चा करेंगे, जो बिना नुकसान पहुँचाए त्वचा संबंधी रोगों में लाभदायक हो सकती है।

कायाकल्प वटी | Kayakalp vati

आयुर्वेदिक उपचार में पतंजलि उत्पादों ने अच्छा नाम कमाया है। कायाकल्प वटी को भी पतंजलि कंपनी की दिव्य फार्मेसी द्वारा ही बनाया गया है। 

कायाकल्प वटी जैसे की नाम से ही पता चल रहा है की यह मेडिसिन त्वचा रोगों के लिए बनाई गई है। इसका पूरा नाम ‘दिव्य कायाकल्प वटी एक्स्ट्रा पावर’ है। यह वटी सफेद बोतल और हल्के भूरे रंग के ढक्कन में मिलती है। छोटी बोतल में 80 टैबलेट्स और बड़ी बोतल में 160 टैबलेट्स होती हैं। इनका रंग गहरा भूरा होता है और आकार गोल होता है।

यह दवा आपको किसी भी पतंजलि स्टोर पर आसानी से मिल जाएगी।

कायाकल्प वटी के घटक | Kayakalp vati ingredients

कायाकल्प वटी में इस्तेमाल होने वाली सामग्रियाँ:

1पनवड़ (Cassia tora)
2दारू हल्दी (Berberis aristata)
3करंज (Caesalpinia bonducella)
4हल्दी (Curcuma longa)
5नीम (Azadirachta indica)
6मंजिष्ठा (Rubia cordifolia)
7कलिजिरी Centratherum nthelminticum)
8चंदन स्वेट (Santalum album)
9आंवला (Emblica officinalis)
10गिलोय (Tinospora cordifolia)
11कुटकी (Picrorhiza kurroa)
12बकुची (Psoralea corylifolia)
13बहेड़ा (Terminalia belerica)
14खैर (Acacia catechu)
15चिरायता (Swertia chirata)
16द्रोणपुष्पी (Leucas cephalotes)
17हरद (Terminalia chebula)
18छोटी कटेली (Solanum anthocarpum)
19इंद्रायन मूल (Citrullus colocynthis)
20देवदरु (Cedrus deodara)
21उष्वा (Smilax ornata)
22रीठा (Sapindus mukorossi)
23कत्था (Acacia catechu)
24कलमिशोरा(Potassium Nitrate या Saltpeter)
25रसमानिक्य
26नीलथोथा शुद्ध(Indigofera tinctoria या True Indigo)

यह सभी सामग्री मिलकर कायाकल्प वटी बनती हैं।कायाकल्प वटी में उपयोग होने वाले तत्व अपने आयुर्वेदिक औषधीय गुणों के लिए जाने जाते हैं। 

1) पनवड़ (Cassia tora): इसमें एंटीऑक्सिडेंट गुण होते हैं जो यह त्वचा की स्वच्छता और निखार में मदद करता है।

2) दारू हल्दी (Berberis aristata): इसमें एंटीबैक्टीरियल और एंटीइन्फ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो त्वचा संक्रमण को रोकने में मदद करते हैं।

3) करंज (Caesalpinia bonducella): करंज में एंटी-बैक्टीरियल, एंटी-फंगल और एंटी-परासिटिक गुण होते हैं, जो त्वचा संक्रमण और चर्म रोगों को रोकने में मदद करते हैं।

4) हल्दी (Curcuma longa): हल्दी त्वचा के लिए बहुत फायदेमंद होती है। इसमें एंटीऑक्सिडेंट और एंटी-इंफ्लैमेटरी गुण होते हैं।

5) नीम (Azadirachta indica): नीम में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-इंफ्लैमेटरी गुण होते हैं, जो त्वचा के लिए बहुत उपयोगी होते हैं।

6) मंजिष्ठा (Rubbia cordifolia): मंजिष्ठा त्वचा की रंगत को साफ़ करने और त्वचा को निखारने में मदद करती है।

7) कलिजिरी (Centratherum anthelminticum): कलिजिरी में एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-फंगल गुण होते हैं, जो आपकी त्वचा को स्वस्थ और चमकदार बनाता है।

8) चंदन स्वेट (Santalum album): चंदन त्वचा को ठंडक प्रदान करता है, जलन और खुजली को कम करता है।

9) आंवला (Emblica officinalis): आंवला में विटामिन C और एंटीऑक्सिडेंट्स की मात्रा अधिक होती है, जो त्वचा को स्वस्थ और युवा बनाए रखते हैं।

10) गिलोय (Tinospora cordifolia): गिलोय त्वचा की स्वच्छता में मदद करता है और त्वचा संक्रमण को रोकने में मदद करता है।

11) कुटकी (Picrorhiza kurroa): कुटकी में एंटीऑक्सिडेंट, एंटीइन्फ्लेमेटरी, और एंटीवायरल गुण होते हैं, जो त्वचा की स्वच्छता और स्वास्थ्य में मदद करते हैं।

12) बकुची (Psoraleacoryllifolia): चर्म रोग ठीक करता है बाकुची  यह मेलानिन का निर्माण बढ़ाता है, जो त्वचा के रंग को सामान्य करने में मदद करता है।

13) बहेड़ा (Terminalia belirica): इसके एंटी-ऑक्सीडेंट गुण त्वचा की आयु बढ़ाने में मदद करते हैं, और यह त्वचा के निखार को बढ़ाता है।

14) खैर (Acacia catechu): खैर के एंटीऑक्सिडेंट गुण त्वचा को नुकसान से बचाने में मदद करते हैं। इसका उपयोग त्वचा संक्रमण के इलाज में भी किया जाता है।

15) चिरायता (Swertia chirata): इसमें एंटी-ऑक्सीडेंट, एंटी-इन्फ्लेमेटरी और एंटीबायोटिक गुण होते हैं, जो त्वचा को स्वस्थ बनाने में मदद करते हैं।

16) द्रोणपुष्पी (Leucas cephalotes): इसके एंटीफंगल गुण होते हैं, जो त्वचा संक्रमण को रोकने में मदद करते हैं।

17) हरद (Terminalia chebula): हरद में एंटीऑक्सिडेंट गुण होते हैं, जो त्वचा को नुकसान से बचाने में मदद करते हैं।

18) छोटी कटेली (Solanum Xanthocarpum): इसके एंटी-इन्फ्लेमेटरी और एंटीऑक्सिडेंट गुण त्वचा की सूजन और क्षति से बचाने में मदद करते हैं।

19) इंद्रायन मूल (Citrullus colocynthis): इसके एंटी-इन्फ्लेमेटरी और एंटीऑक्सिडेंट गुण त्वचा समस्याओं के इलाज में मदद करते हैं।

20) देवदारु (Cedrus deodara): देवदारु में एंटी-इन्फ्लेमेटरी और एंटीसेप्टिक गुण होते हैं, जो त्वचा को नुकसान से बचाने में मदद करते हैं।

21) उष्वा (Smilax ornata): इसके एंटीइन्फ्लेमेटरी और एंटीऑक्सिडेंट गुण त्वचा की सूजन और क्षति से बचाने में मदद करते हैं।

22) रीठा (Sapindus mukorossi): रीठा त्वचा को साफ़ और ताजगी देता है, यह त्वचा के लिए प्राकृतिक क्लीन्ज़र के रूप में कार्य करता है।

23) कत्था (Acacia catechu): कत्था में एंटीबैक्टीरियल और एंटीइन्फ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो त्वचा संक्रमण को रोकने में मदद करते हैं।

24) कलमिशोरा : कलमिशोरा में एंटीइन्फ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो त्वचा की सूजन और क्षति से बचाने में मदद करते हैं।

25) रसमानिक्य: यह एक आयुर्वेदिक उपचार है जिसका उपयोग मुख्यतः त्वचा की सूजन और रक्तचाप समस्याओं के इलाज में किया जाता है।

26) नीलथोथा शुद्ध: नीलथोथा में एंटी-इन्फ्लेमेटरी और एंटीऑक्सिडेंट गुण होते हैं, जो त्वचा की सूजन और क्षति से बचाने में मदद करते हैं।

कायाकल्प वटी के फायदे | Kayakalp vati benefits in hindi

दिव्य कायाकल्प वटी, जो एक आयुर्वेदिक औषधि है, चेहरे की सुंदरता बढ़ाने में कई तरह से फायदेमंद है। आइए जानते हैं कैसे:

1) एंटी-एजिंग के गुण | Anti-Ageing Properties

कोई भी व्यक्ति नहीं चाहता कि उनके चेहरे पर जल्दी बुढ़ापा दिखे। कायाकल्प वटी में विभिन्न औषधीय तत्व होते हैं,जिससे झुर्रियों, फाइन लाइन्स और उम्र के चिह्नों को कम करने में मदद मिलती है। 

2) पिगमेंटेशन | Pigmentation

इस बीमारी के नाम में ही टेंशन शब्द जुड़ा हुआ है और सचमुच टेंशन हो जाती है क्योंकि इसमें त्वचा का रंग सफेद या हल्का लाल होने लगता है, कायाकल्प वटी में प्रमुख तत्व पिगमेंटेशन को कम करने और त्वचा का रंग सुधारने में मदद करते हैं। 

3) सफेद दाग | White spot

त्वचा में सफेद दाग होने पर हमारे प्रति लोगों के देखने के नजरिए में फर्क आ जाता है। कायाकल्प वटी में ल्यूकोडर्मा (सफेद दाग) को कम करने और त्वचा का रंग समान करने वाले औषधीय तत्व मौजूद होते हैं।

4) दाद -खाज |  Ringworm

दाद खाज कई बार शर्मिंदगी का कारण बन जाते हैं। कायाकल्प वटी दाद फंगल संक्रमण के लिए उपयोगी होती है। इसमें मौजूद तत्व लाल चकत्तेऔर खुजली को कम करने में मदद करते हैं।

5) कायाकल्प वटी एक्जिमा में | Patanjali divya kayakalp vati for Eczema

एक्जिमा एक गंभीर समस्या है जिसमें त्वचा पर जलन, लाल चकत्ते और सूखापन की समस्या होती है। कायाकल्प वटी इस समस्या से निजात दिलाने में सहायक हो सकती है।

6) पिम्पल्स और दाग | Pimples and blemishes

मुहांसे आजकल एकआम समस्या बन गई है।कई दवाइयाँ मुहांसे को शायद ठीक कर भी दे, लेकिन दाग-धब्बे तो छोड़ ही देते हैं। कायाकल्प वटी त्वचा के कील और मुंहासों को कम करके दाग-धब्बों से रक्षा करते हैं।

7) कायाकल्प वटी एक्स्ट्रा पावर सोरायसिस में | Patanjali kayakalp vati for psoriasis

सोरायसिस एक घातक त्वचा संबंधी बीमारी है कायाकल्प वटी में मौजूद तत्व से लाल दानों, छाले और त्वचा की छिलने की समस्या को कम करने में सहायता मिल सकती है।

8) टेनिंग, डार्क सर्कल्स, और ब्लैकहेड्स | Tanning, Dark Circles, and Blackheads

कायाकल्प वटी अतिरिक्त मेलानिन नियंत्रित करती है, जिससे टेनिंग कम होती है। आंतरिक शुद्धिकरण से डार्क सर्कल्स कम होते हैं और एंटी-बैक्टीरियल गुण ब्लैकहेड्स को रोकते हैं, जिससे त्वचा स्वस्थ बनती है।

9) खून की सफाई | Blood purification

कायाकल्प वटी रक्त शुद्धि करने में भी सहायक होती है। इसमें मौजूद जड़ी बूटियां शरीर के विषाक्त पदार्थों को निकालने में मदद करती हैं, जिससे रक्त शुद्ध होता है।

10) दिव्या कायाकल्प वटी डेड स्किन के लिए  | Dead skin

दिव्य कायाकल्प वटी आपके त्वचा की कोशिकाओं को पुनर्जीवित करती है और नई कोशिकाओं के विकास को बढ़ावा देती है।जिससे त्वचा स्वस्थ और चमकदार होती है।

कायाकल्प वटी के नुकसान | Kayakalp vati side effects

कायाकल्प वटी एक आयुर्वेदिक औषधि है जिसे मुख्यतः त्वचा संबंधी विकारों के उपचार के लिए इस्तेमाल किया जाता है। वैसे तो यह एक सुरक्षित दवा है लेकिन कुछ मामलों में इसके साइड इफेक्ट्स भी हो सकते हैं, जिनमें शामिल हैं:

  • एलर्जी: कुछ लोगों को इसकी सामग्रियों से एलर्जी हो सकती है।
  • सर्जरी : यदि आपने हाल ही में कोई सर्जरी करवाई है, तो आपको अपने चिकित्सक से सलाह लेनी चाहिए।

कायाकल्प वटी खाने का तरीका | Kayakalp Vati Uses in Hindi

कायाकल्प वटी के सेवन का तरीका व्यक्ति के शरीर की जरूरत और बीमारी की स्थिति पर निर्भर करता है। हालांकि, आमतौर पर इसे लेने का एक सामान्य निर्देश इस प्रकार होता है, जो बोतल पर लिखा हुआ होता है:

  • एक या दो टैबलेट को दिन में दो बार, सुबह और शाम में लिया जाता है।
  • यह दवा पानी के साथ ली जाती है।
  • इसे भोजन के पहले या बाद में लिया जा सकता है, लेकिन इसे भोजन के पहले लेने की सलाह दी जाती है।

फिर भी, यह सलाह दी जाती है कि आप अपने डॉक्टर या आयुर्वेदिक विशेषज्ञ के साथ संपर्क करें और उनकी सलाह अनुसार ही इस दवा का सेवन करें।

सम्बंधित चेतावनी 

कायाकल्प वटी एक आयुर्वेदिक दवा है आपको कायाकल्प वटी का सेवन  करते समय निम्नलिखित सावधानियाँ बरतनी चाहिए:

  • मेडिकल अवस्था: यदि आपकी कोई गंभीर बीमारी है या आप अन्य किसी दवा का सेवन कर रहे हैं, तो आपको अपने चिकित्सक से परामर्श करना चाहिए।
  • गर्भावस्था और स्तनपान: गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाएं इसका सेवन करने से पहले चिकित्सक से सलाह लें।
  • अधिक मात्रा में सेवन: अधिक मात्रा में कायाकल्प वटी का सेवन न करें। अपने डॉक्टर द्वारा निर्धारित आवश्यक मात्रा का पालन करें।
  • दुष्प्रभाव और साइड इफेक्ट्स: यदि आपको इस दवा का सेवन करने के बाद कोई नकरात्मक प्रभाव महसूस होता है, तो तुरंत अपने डॉक्टर से संपर्क करें। निष्कर्ष | Conclusion कायाकल्प वटी, चेहरे और त्वचा की बीमारियों को ठीक करने के लिए बनाई गई है। यह एक प्रभावी और सुरक्षित आयुर्वेदिक औषधि मानी जाती है। इसका नियमित उपयोग किया जा सकता है, लेकिन सही मात्रा की जानकारी आवश्यक है ताकि नियमित उपयोग करने पर किसी भी तरह के साइड इफेक्ट न हों।

FAQs

बच्चों के लिए पतंजलि दिव्या कायाकल्प वटी का उपयोग ठीक है?

18 वर्ष से कम आयु के बच्चों को Patanjali Divya Kayakalp Vati देने से पहले डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।

पतंजलि दिव्य कायाकल्प वटी को दूध के साथ कैसे ले सकते हैं?

कायाकल्प वटी का उपयोग दूध के साथ नहीं करना चाहिए।

क्या कायाकल्प वटी की आदत लग जाती है?

Patanjali Divya Kayakalp Vati एक आयुर्वेदिक औषधि है यह कोई आदत नहीं बनाती है। 

कायाकल्प वटी कितने दिन में फ़ायदा पहुचाती है?

कायाकल्प वटी का एक सप्ताह में दिखना लगता है परंतु यदि त्वचा की समस्या बड़ी हो तो 3-4 महीने का समय लग जाता धीरज रखने की आवश्यकता होती है।

कायाकल्प वटी का उपयोग करते समय क्या परहेज करना चाहिए?

काया कल्प वटी का उपयोग करते समय दिनभर काफी पानी पिएं, तेल-मसाले वाले और प्रोसेस्ड जंक फ़ूड से दूर रहें। ऐसा करने से वटी का असर अच्छा होता है और जल्दी होता है क्योंकि कहते हैं ना पेट सही तो शरीर स्वस्थ।

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